2022 में युवाओं के लिए अग्निपथ योजना लागू की थी. योजना में अब तक हजारों युवाओं को नौकरी मिल चुकी है. इस योजना को लेकर राजीनीतिक रूप से तो काफी हंगामा और बहस हो चुकी है. लेकिन, क्या आपको पता है कि अग्निवीर की नौकरी बाकी जॉब से क्यों अलग है. इसका सबसे बड़ा कारण है इस पर लगने वाला इनकम टैक्स. यही कारण है कि इस योजना से जुड़े युवाओं को अपना आईटीआर भरते समय सावधान रहना होगा, क्योंकि सरकार ने इसके लिए अलग से कानून बनाए हैं और उसमें चूक हुई तो इनकम टैक्स का नोटिस आना तय है.
आपको बता दें कि अग्निवीर योजना में सिर्फ 4 साल के लिए ही भर्ती की जाती है. इस दौरान होने वाली कमाई का खुलासा आईटीआर फॉर्म में अलग से करना पड़ता है. इसके लिए बाकायदा आईटीआर फॉर्म 1 में बदलाव भी किए गए हैं. जाहिर है कि अगर आपने रिटर्न भरते समय इसका ध्यान नहीं रखा तो निश्चित रूप से इनकम टैक्स का नोटिस आ जाएगा.
बदलाव
इनकम टैक्स विभाग ने फाइनेंशियल एक्ट 2023 में नई धारा 80CCH जोड़ दी. इस धारा के तहत अग्निवीर योजना में शामिल युवाओं को टैक्स बचाने का मौका मिलेगा. आईटीआर भरते समय युवाओं को आईटीआर फॉर्म का चुनाव करना होगा और इसमें धारा 80CCH के तहत दिए गए कॉलम में अपनी कमाई का खुलासा करना होगा.
इसका फायदा
दरअसल, अग्निपथ योजना के तहत सरकार ने हर कर्मचारी के लिए एक सेवानिधि (SevaNidhi) बनाने की बता कही है. इसमें 4 साल तक नौकरी के दौरान युवा अपनी सैलरी का 30 फीसदी हिस्सा अनिवार्य रूप से डालेंगे. इतना ही पैसा केंद्र सरकार भी डालेगी और इस तरह 4 साल बाद करीब 10 लाख का कॉर्पस तैयार हो जाएगा. यह पूरा पैसा टैक्स फ्री होगा. इस पर ब्याज भी मिलेगा.
रिजीम में मिलेगी छूट
आपको बता दें कि अग्निवीर कॉर्पस में जमा किए पैसे पर इनकम टैक्स छूट लेनी है तो सिर्फ पुराने रिजीम में ही इसका फायदा उठाया जा सकेगा. इसमें नौकरीपेशा की ओर से किए कंट्रीब्यूशन के साथ केंद्र सरकार की ओर से मिला पैसा भी शामिल होगा, जिस पर टैक्स छूट ली जा सकेगी. इस पैसे पर नए और पुराने दोनों ही रिजीम में टैक्स छूट ली जा सकती है.