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इस देश ने स्कूलों में बैन की एनर्जी ड्रिंक्स ! सेहत के लिए कितनी खतरनाक ये चीजें, एक्सपर्ट से जानें हकीकत

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कंबोडिया ने अपने स्कूलों में एनर्जी ड्रिंक पर बैन लगा दिया है. इसकी सबसे बड़ी वजह युवाओं में डायबिटीज के बढ़ते हुए मामलों को बताया गया है. कंबोडिया सरकार ने एक निर्देश जारी करते हुए कहा कि स्कूलों के भीतर और उनके आसपास एनर्जी ड्रिंक पीने और बेचने पर पूरी तरह बैन रहेगा. वहां की सरकार का कहना है कि शुगर और एनर्जी ड्रिंक्स का सेवन करने से डायबिटीज समेत कई बीमारियां फैल रही हैं. इतना ही नहीं, वहां के स्कूलों में प्रार्थना के दौरान बच्चों को एनर्जी ड्रिंक्स के नुकसान के बारे में भी बताया जाएगा, ताकि बच्चे जागरूक हो सकें.

नोएडा के डाइट मंत्रा क्लीनिक की फाउंडर और सीनियर डाइटिशियन कामिनी सिन्हा ने News18 को बताया कि अधिकतर एनर्जी ड्रिंक्स में शुगर और कैफीन की मात्रा सबसे ज्यादा होती है. इसके अलावा एनर्जी ड्रिंक्स में कई स्टिमुलेंट्स, आर्टिफिशियल फ्लेवर्स और प्रिजर्वेटिव्स होते हैं. इन चीजों को सेहत के लिए बेहद नुकसानदायक माना जाता है. एनर्जी ड्रिंक्स को पीने के बाद इंस्टेंट एनर्जी तो मिलती है, लेकिन जब यह शरीर में जाती है, तब शरीर में शुगर लेवल बढ़ जाता है और इसे कंट्रोल करने के लिए ज्यादा इंसुलिन रिलीज होने लगता है. बार-बार ऐसा होने से इंसुलिन रजिस्टेंस पैदा हो सकता है. इससे डायबिटीज, हार्ट डिजीज, ब्रेन डिजीज समेत कई गंभीर बीमारियों का खतरा पैदा हो सकता है.

डाइटिशियन ने बताया कि बच्चों के लिए एनर्जी ड्रिंक्स ज्यादा नुकसानदायक हैं, क्योंकि उनके लिए इन ड्रिंक्स को डाइजेस्ट करना मुश्किल हो सकता है. कम उम्र से ज्यादा लिक्विड शुगर लेने की आदत यंग एज में ही बीमारियों की वजह बन सकती है. ऐसे में छोटे बच्चों को एनर्जी ड्रिंक्स से दूर रखना चाहिए. इनमें कैफीन की ज्यादा मात्रा होती है, जो बच्चों की सेहत को बुरी तरह प्रभावित कर सकती है. हाई कैलौरी, हाई शुगर और हाई कैफीन की वजह से एनर्जी ड्रिंक्स का ज्यादा सेवन करना नुकसानदायक होता है. इससे हाई ब्लड प्रेशर, हार्ट पैल्पिटेशन और स्लीप डिसऑर्डर पैदा हो सकते हैं.

हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो एनर्जी ड्रिंक्स का अत्यधिक सेवन स्वास्थ्य के लिए कई गंभीर नुकसान पैदा कर सकता है. हाई शुगर होने के कारण ये ड्रिंक्स वजन बढ़ने का कारण बन सकती हैं और इससे मेटाबोलिक डिसऑर्डर का खतरा बढ़ सकता है. लगातार इन ड्रिंक्स का सेवन करने से शरीर का नेचुरल एनर्जी लेवल प्रभावित होता है और लोगों को थकावट और मानसिक तनाव का सामना करना पड़ सकता है. एनर्जी ड्रिंक्स ज्यादा पीने से मेंटल हेल्थ भी बुरी तरह बर्बाद हो सकती है. एनर्जी ड्रिंक्स में पाए जाने वाले टॉराइन और गुआराना जैसे तत्व मेंटल प्रॉब्लम्स, चिंता और घबराहट को बढ़ा सकते हैं. बच्चों और टीनएजर्स के लिए यह ज्यादा खतरनाक है, क्योंकि उनका शरीर एनर्जी ड्रिंक्स के असर को संभाल नहीं पाता है.