Home छत्तीसगढ़ मंडी में बम्पर धान की आवक, नहीं मिल रहा समर्थन मूल्य का...

मंडी में बम्पर धान की आवक, नहीं मिल रहा समर्थन मूल्य का लाभ

77
0

राजनांदगांव(दावा)। जिले में शीघ्र पकने वाले हरूना धान की कटाई शुरू हो गई है। फसल कट कर खलिहान में आने के साथ किसान दीपावली त्यौहार की खरीदारी के लिए मंडी में धान बेचने के लिए लाना भी शुरू कर दिये हैं, इससे शहर के बसंतपुर स्थित कृषि उपज मंडी में धान की बम्पर आवक बनी हुई है।

मंडी में आढ़त का काम करने वाले घनश्याम शर्मा ने बताया कि मंडी में रोजाना 20 से 22 हजार कट्टा धान की आवक बनी हुई है इससे मंडी गुलजार बना हुआ है लेकिन भाव में मंदी होने के कारण किसानों को अपेक्षित लाभ नहीं मिल पा रहा है। इधर शासन द्वारा धान का समर्थन मूल्य घोषित किये जाने के बाद भी इस लाभ किसानों को नहीं मिलने से किसानों में नाराजगी बनी हुई है। एक तो धान के भाव में मंदी बनी हुई है। नया महामाया धान का न्यूनतम मूल्य 1350 रूपये वही अधिकतम मूल्य 16 सौ रूपये है। इसी तरह आई.आर. नया 1380 से 1490 रूपये तक बिक रहा है। पुराना सरना का भाव भी 1325 से लेकर 1350 तक बना हुआ है। इसी प्रकार सोयाबीन की खरीदी भी 3800 रूपये से लेकर 3961 रूपये जा रहा है। किसान इस मंदी वाले भाव को अपना माल बेचने विवश है। आज मंडी में 22 हजार कट्टा नया धान पहुंचा। इसी तरह गठानी माल की आवक 1500 कट्टा रही। मंडी में सोयाबीन लगभग 14 सौ कट्टी खरीदा गया। बहरहाल मंडी में शासन के समर्थन मूल्य 1850 रूपये प्रति क्विंटल धान खरीदी लागू नहीं होने से किसानों में मायुसी देखी जा रही है।

अच्छी बारिश से पैदावार भी अच्छी-किसान
भर्रेगांव क्षेत्र के ग्राम पार्री निवासी किसान मनोहर साहू ने बताया कि इस वर्ष नांदगांव जिले में शुरूआती दिनों को छोड़ दें तो समय-समय पर अच्छी वर्षा हुई है, इसके कारण धान की पैदावारी भी अच्छी हुई है। बताया गया कि एक एकड़ में 25 क्विटल धान हो सकता है। शीघ्र पकने वाली धान की कटाई तो पखवाड़े भर पहले से शुरू हो चुकी है और फसल कटाई के बाद मंडी तक बिकने जाना भी शुरू हो चुका है। वर्तमान में माई धान की कटाई ने जोर पकड़ा हुआ है। किसान बसंतपुर कृषि उपज मंडी में पहुंच कर अपनी नई फसल का धान बेच रहे हैं, लेकिन भाव मंदा होने के कारण उन्हे औने-पौने दाम पर ही धान की बिक्री करनी पड़ रही है। इधर मंडी में समर्थन मूल्य लागू नहीं होने के कारण इसका लाभ किसानों को नहीं मिल पा रहा। इससे किसानों में मायूसी देखी जा रही है। बहरहाल किसानों को जहां एक नम्बर फसल होने का लाभ तो मिल रहा है। लेकिन मंडी मेंं धान का भाव मंदा होने व समर्थन मूल्य का लाभ नहीं मिलने से उनकी खुशी अधूरी सी लग रही है।

मंडी में नया धान सहित पुराना धान भी बड़े पैमाने पर पहुंच रहा है। सोयाबीन की खरीदी में भी तेजी आई है। मंडी द्वारा किसानों को अच्छी कीमत देने की कोशिश की जा रही है।
आरएन साहू, सचिव कृषि मंडी

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here