रायपुर. 4 अक्टूबर… ये दिन और तारीख शायद छत्तीसगढ़ कभी नहीं भूलेगा. ये वहीं दिन है जब दंतेवाड़ा-नारायणपुर जिले के बॉर्डर पर सुरक्षा के जवानों ने नक्सलियों के खिलाफ अब तक का सबसे बड़ा ऑपरेशन लॉन्च किया. बताया जा रहा है कि इस ऑपरेशन में 500 से ज्यादा जवान शामिल थे. मुठभेड़ में जवानों ने 31 नक्सलियों को मार गिराया और सभी की बॉडी को बरामद कर लिया. जवान कई पहाड़ों को क्रॉस कर कर नदी-नालों को पार कर नक्सलियों को कोर एरिया में पहुंचे थे. लथुली और नेंदूर इलाके में जवानों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई थी. DRG दंतेवाड़ा और नारायणपुर के साथ STF ने इस जॉइंट ऑपरेशन को अंजाम दिया है.
सर्चिंग के बाद जवानों को मौके से LMG Rifle, AK 47, SLR, INSAS .303 राइफल सहित कई अन्य हथियार मिले है. बताया जा रहा है कि मुठभेड़ में दंडकारण्य स्पेशल जोनल कमेटी के लीडर कमलेश, नीति, कमांडर नंदू, सुरेश सलाम, मलेश, विमला सहित कई नक्सली मारे गए है. मुठभेड़ में 1 डीआरजी जवान घायल हो गया है. फिलहाल रायपुर में उनका इलाज किया जा रहा है.
कांकेर में मारे गए थे 29 नक्सली
663 नक्सलियों को गिरफ्तार किया जा चुका है. 556 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है.
जानिए कैसे की गई पूरा प्लानिंग
सूत्र बताते हैं कि जवानों को नक्सलियों को कोर एरिया माने जाने वाले अबूझमाड़ के ओरछा के थुलथुली इलाके में पूर्वी बस्तर डिवीजन के कंपनी नंबर 6 के कई नक्सलियों की मौजूदी का पुख्ता इनपुट मिला था. इसके बाद डीआरडी और एसटीएफ के जवानों ने ऑपरेशन लॉन्च किया. लगातार हो रही बारिश के बीच जवान पहाड़, नदी-नाले पार करते हुए थुलथुली-नेंदुर के जंगल पहुंचे. इस बीच नक्सलियों के टॉप लीटर एक जगह से दूसरी जगह मूवमेंट कर रहे थे, लेकिन बारिश की वजह से उन्होंने अपना ठिकाना नहीं बदला. नक्सली बारिश थमने के बाद आगे बढ़ने की तैयारी कर रहे थे.
जवानों को इसी वक्त बड़ा मौका मिल गया. इसके बाद दंतेवाड़ा और नारायणपुर इलाके के बॉर्डर एरिया पर जवानों ने नक्सलियों को चारों तरफ से घेर लिया. फिर जवानों ने फायर खोल दिया. इस बीच नक्सली दूसरी तरफ भागने लगे, लेकिन यहां भी उनका सामना जवानों से ही हुआ. बताया जा रहा है कि इस एनकाउंटर में बड़े कैडर के नक्सली मारे गए है.